ब्यूरो रिपोर्ट…जस्टिस सूर्यकांत और एनके सिंह की पीठ एक जनहित याचिका पर सुनवाई कर रही थी जिसमें तर्क दिया गया था कि निजी अस्पताल इन-हाउस फार्मेसियों से दवाइयां खरीदने के लिए मजबूर कर रहे थे।इसको लेकर सुप्रीम कोर्ट (SC) ने कहा- उचित चिकित्सा देखभाल सुनिश्चित करना राज्यों का कर्तव्य है। लेकिन राज्ये सरकारें इसमें पूरी तरह से फेल हो गई हैं उन्होंने निजी संस्थाओं को सुविधा प्रदान की और बढ़ावा दिया।
SC ने प्राइवेट अस्पताल की फार्मेसियों के मुद्दे पर की सुनवाई
सुप्रीम कोर्ट (SC) ने दवाइयों की सुविधा को लेकर राज्य सरकार की आलोचना की है।सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि राज्य सरकारें किफायती मेडिकल देखभाल और बुनियादी ढांचे को सुनिश्चित करने में विफल रही हैं।सुप्रीम कोर्ट (SC) ने समाज के गरीब तबके के लोगों के लिए सही दाम पर दवाइयां, खास तौर पर आवश्यक दवाइयां उपलब्ध कराने में राज्यों की विफलता की तीखी आलोचना की।
सुप्रीम कोर्ट (SC) ने कहा कि इस असफलता ने प्राइवेट अस्पतालों को सुविधा प्रदान की और बढ़ावा दिया। सुप्रीम कोर्ट (SC) ने कहा कि इस असफलता ने निजी अस्पतालों को सुविधा प्रदान की और बढ़ावा दिया।
‘फार्मेसियों से खरीदने के लिए मजबूर कर रहे हैं’
जस्टिस सूर्यकांत और एनके सिंह की पीठ एक जनहित याचिका पर सुनवाई कर रही थी, जिसमें तर्क दिया गया था कि निजी अस्पताल मरीजों और उनके परिवारों को दवाइयां, प्रत्यारोपण और अन्य चिकित्सा देखभाल की वस्तुएं इन-हाउस फार्मेसियों से खरीदने के लिए मजबूर कर रहे हैं, जो अत्यधिक मार्क-अप लगाती हैं।