ब्यूरो रिपोर्टः आज हम बात करेंगे योगासन (Yogasanas) के बारे में, दरअसल कई स्वास्थ्य संबंधी समस्याएं उम्र के साथ होने लगती हैं। 40 वर्ष की उम्र के बाद शरीर कमजोर होने लगता है। बता दे कि ऐसे में बीमारियों का खतरा बढ़ जाता है। बढ़ती उम्र में मांसपेशियों में दर्द, हड्डियों की समस्या, त्वचा पर झुर्रियां और झाइयां आ जाती है। महिलाओं की तरह पुरुषों को भी स्वास्थ्य संबंधित समस्याएं हो सकती हैं।
Yogasanas का अभ्यास करने से कई समस्याएं से दूर
लेकिन जीवनशैली, खानपान और एक्सरसाइज की आदत को अपनाकर लंबी उम्र तक स्वस्थ रह सकते हैं। स्वास्थ्य विशेषज्ञों के मुताबिक, योग कई तरह की शारीरिक समस्याओं और मानसिक स्वास्थ्य के लिए लाभकारी है। योगाभ्यास (Yogasanas) से मानसिक स्वास्थ्य को बेहतर बना सकते हैं और बढ़ती उम्र में होने वाले नकारात्मक बदलावों को भी कम कर सकते हैं। यहां कुछ योगासनों (Yogasanas) के बारे में बताया जा रहा है, जिसे 40 की उम्र के बाद पुरुषों को नियमित तौर पर करना चाहिए।
गोमुखासन
बता दे कि इस योगासन (Yogasanas) के अभ्यास से साइटिका की परेशानी ठीक होती है। गोमुखासन हाई ब्लड प्रेशर को नियंत्रित करने में सहायक है।दरअसल यह योग रीढ़ को लंबा करने, कंधों की जकड़न, तनाव व चिंता कम करने और पीठ की मसल्स को मजबूत करने में मदद करता है।
पद्मासन
बता दे कि पद्मासन घुटनों और कूल्हों के जोड़ों को लचीला बनाता है। घुटनों और टखनों में खिंचाव लाकर मजबूत करता है। रीढ़, पेट और मूत्राशय को उत्तेजित करता है। दरअसल साथ ही मन को शांत रखने और पाचन क्रिया बेहतर बनाने में भी सहायक है। महिलाएं भी पद्मासन का अभ्यास कर सकती है। साइटिका में होने वाली मासिक धर्म तकलीफ से बड़ी राहत दिलाने के साथ-साथ गर्भावस्था में इस मुद्रा को करने से प्रसव आसान होता है।
विपरीतकर्णी
बता दे कि विपरीत करणी योगासन (Yogasanas) के अभ्यास से पैरों को आराम मिलता है और मांसपेशियां मजबूत होती हैं। मानसिक और शारीरिक रूप से चिंता मुक्त रखने में भी यह आसन फायदेमंद है। गठिया के मरीजों के लिए इस आसन का नियमित अभ्यास लाभकारी हो सकता है।
अधोमुख श्वानासन
बता दे कि अधोमुख श्वानासन के अभ्यास से शरीर को जबरदस्त फायदे होते हैं। 40 के बाद पुरुषों को इस योग का अभ्यास नियमित तौर पर करना चाहिए। दरअसल इस योग से पेट की निचली मांसपेशियां मजबूत होती हैं। पाचन में सुधार, रक्त संचार में वृद्धि और एंग्जाइटी पर काबू पाया जा सकता है।